
आजकल लोग पेट की समस्याओं से ज्यादा स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं से परेशान रहते हैं। यहां गलत खान-पान के कारण व्यक्ति को पेट या किडनी में पथरी की शिकायत हो जाती है। इस रोग का प्राथमिक लक्षण पेट दर्द है। पहली या दूसरी बार पेट दर्द होने पर ज्यादातर लोग इस दर्द को नजरअंदाज कर देते हैं।
जिसके कारण लोगों को पेट में किडनी स्टोन का दर्द अधिक परेशान करता है। यह रोग फास्ट फूड के नियमित सेवन और खान-पान के कारण शरीर से निकलने वाले रसायनों के असंतुलन के कारण होता है।सर्जन डॉ. पंकज कुमार ने बताया कि यह बीमारी खासकर नये जमाने के युवाओं में अधिक देखी जा रही है। यहां यह रोग मुख्य रूप से हमारे शरीर में दैनिक खान-पान के कारण होने वाले रासायनिक असंतुलन के कारण होता है। हमारी किडनी में रासायनिक पथरी बनने लगती है। यह पत्थर दिन प्रतिदिन बढ़ता ही जाता है। इसका प्राथमिक लक्षण रोगी के पेट में मूत्र मार्ग से दर्द होना है। पेशाब करते समय जलन होती है। इस स्थिति में कई रोगियों के मूत्र में रक्त भी आता है।
यदि शुरुआती लक्षणों में ही इस बीमारी की पहचान हो जाए तो रोगी को अधिक पानी पीना शुरू कर देना चाहिए। रोगी जितनी बार पेशाब करेगा, उसके लिए उतना ही अच्छा होगा। अधिक पानी पीने तथा पेशाब करने से छोटी-छोटी पथरी रोगी के मूत्र मार्ग से बाहर निकल जाती है। अगर यह बीमारी गंभीर हो जाए तो इसका इलाज ऑपरेशन के जरिए ही किया जा सकता है। भले ही ऑपरेशन सही समय पर न किया गया हो. रोगी की किडनी में संक्रमण शुरू हो जाता है।
किडनी में पथरी होने पर शुरुआती लक्षणों के लिए घरेलू उपचार के तौर पर कुछ लोग कुरथी दाल का पानी भी पीते हैं।जो व्यक्ति के पेशाब करने की प्रक्रिया को तेज कर देता है। छोटी पथरी मूत्र के माध्यम से निकल जाती है। लेकिन जब यह बीमारी गंभीर हो जाती है तो इसका इलाज सिर्फ ऑपरेशन ही होता है।